मोर पंख
मंगलवार, 16 फ़रवरी 2021
चौपाल(रोला 12)
रोला 12
*चौपाल*(गुड़ी)
*सुधार के बाद*
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लगै नहीं चौपाल, हवय सब घर मा खुसरे |
मया पिरित के गोठ,नहीं कोनो ला उसरे ||
फ़िक़्क़ा लगत तिहार, गली हर हावय सुन्ना |
पूछत हे चौपाल, कभू आही दिन जुन्ना ||
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सुनिल शर्मा"नील"
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