सोमवार, 18 जून 2018

काँटो में रहके

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ठोकरों से संभलना हमें आ गया!
तूफानों में लना हमें आ गया!
हर पग पर मिले इतने काँटे मुझे,
काँटो में रहके पलना मुझे आ गया !!
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-सुनिल शर्मा"नील"

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