बुधवार, 2 जून 2021

पिताभक्त मेघनाद (विधाता 9)

सुनिश्चित हार है था जानता फिर भी खड़ा था वह |
पिता के आन की खातिर समर भू में अड़ा था वह |
मरण तय है दशानन पुत्र को यह ज्ञात था लेकिन,
निभाने धर्म बेटे का प्रभो से  जा लड़ा था वह ||

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें